person holding rock

संघर्ष

संघर्ष ही जीवन है,जीवन ही संघर्ष है. जीने के लिये,करना पड़ेगा संघर्ष,काँटों से बचना है तो,करना पड़ेगा संघर्ष.संघर्ष ही जीवन……. हक़ के लीये अपने,करना पड़ेगा संघर्ष,अकेले ही करना,पड़ेगा संघर्ष.संघर्ष ही जीवन……… अस्तित्व की करनी है रक्षा,तो करना पड़ेगा संघर्ष,सत्य की Read more…

city village

शहरन में का बा?

का बा,शहरन में का बा?गांवन में होरहा बा,कऊड़ा बा,गिरवछ बा,गोझा बा,लिटी आ,चोखा बा। शहरन में का बा?गांवन में बाग बा,बगइचा बा,ताल बा,तलइया बानहर आ,पोखरा बा। शहरन में का बा?गांवन में,खेत बा,खलिहान बा,मेढ़ आ,माचान बा। शहरन में का बा?गांवन में,प्यार बा,ठहराव Read more…

portal

अंडरपास

हर कालेजों,बस स्टेशनों,बाज़ारों,और उनके घरों से,कार्यस्थलों के रास्तों मेंहर भीड़-भाड़ वाली जगहों,व प्रत्येक सुनसान सड़कों पर भीहोने चाहिए एक-एक अंडरपासताकि “कुछ” पुरूषों से मिले बिना ही,औरतें पहुंच सकें अपने गंतव्यों तकऔर ‘अनचाहे स्पर्शों’ को झेले बिनावें पहुंच जाएं,अपनी दहलीज़ में Read more…

housewife

औरतें

हर घर कीलाइफ-लाइन होतीं है औरतेंयह तुम मानों या न मानोंकोई फ़र्क नहीं पड़ता उनकोप्रूफ करना/करानाउनकी विषयवस्तु नहींपर यह जान लो तुमकि, सिलवटें चादर की होंया, जिंदगी कीदुरूस्त करती हैं वहींउनकेे ना रहने सेबंद हो जाती हैं बोलियांचाहें तुम्हारी हों,या Read more…

reading

ज्ञान-पिपासा

पात्र – हैक्टर – एक विवाहित युवक. हेलेन -हेक्टर की खूबसूरत पत्नी. जैकब – हेक्टर का मित्र. ऑलिवर – हेक्टर का पुत्र. दृश्य – एक ( पर्दा उठता है ) (एक सुसज्जित कमरे में हेलन और हैक्टर) हेलेन – हैक्टर Read more…

soldier

जवान

ऐ जवान तू ऐसे चल,दुश्मन का जाए, दिल दहल.देश का तुझी से है, मनोबल,ऐ जवान तू ऐसे चल,दुश्मन का जाए दिल दहल. त्याग की तू मूर्ति है,अभिलाषाओं की संतुष्टि है,श्रेष्ठता पर्याय तेरा,तू शौर्य की पराकाष्ठा है.ऐ जवान तू ऐसे चल….. Read more…

election

चुनाव

आते ही चुनावजीवित हो जातें हैंकुछ मुर्देकुछ मुद्दे जो पूर्व मेरहते थेंभूलें-भटकेंगुमशुदा-गुमनाम! तथा…तय होते हीहार-जीत!कर दिए जाते हैं जमापंचवर्षीय योजनाओं केअन्तर्गत!बर्फ के घरों मेंपांच सालों तक! ताकि बासी ना होंमुर्दे भीमुद्दे भीअगले चुनावों तक। © धनंजय शर्मा

green field

प्रेम की फ़िक्र

पिता के स्कूटर पर बैठीजाती एक लड़की सेमुझे प्रेम थाजब उसकी नाज़ुक उंगलियांकिताब के पन्नों परचहलकदमी करतींमैंने उन्हें अपनेसीनें पर महसूस कियाप्रेम मुझे उससे थाइतना कि…मैंने उसे कोईप्रेम पत्र नहीं लिखाक्योंकि चिंता थी मुझेअपने प्रेम की,उसके लगाएं पेड़ की। © Read more…

love

ताकि प्रेम बासी न हों

ज्यादातर प्रेम कथाओं मेंप्रेमियों का प्रेमिकाओं सेमिलन नहीं हों पाताशायद इसलिए कि बरकरार रह सकेंप्रेम की लालिमाप्रेम की कस़क बाकी होंऔर प्रेम बासी न हों © धनंजय शर्मा

puliya

पुलिया

यूं तो बेंच हैबैठने की वस्तुऔर पुल…इस पार से उस पारजाने औरआने की इमारतबावजूद इसकेबेंच…खुद पर बैठे लोगों कोउतना नहीं जोड़ पातींजितना किजोड़े रखती हैकिसी पतली नहर परबनी छोटी सी पुलिया वैसे हीजैसे डाइंग रूम मेंबैठें लोगों कोराजनीतिक बातेंउतना नहीं Read more…